कर्मचारियों और पेंशनर्स को महंगाई भत्ते में बढ़ोतरी का बेसब्री से इंतजार है ऐसे में अब कर्मचारियों का इंतजार खत्म होता दिख रहा है क्योकि अब सरकार जून 2024 से महंगाई भत्ते में 50% तक की वृद्धि कर सकती है लेकिन कर्मचारियों की उम्मीदों पर पानी तब फिर गया जब उनके भत्तो में बढ़ोतरी नही की गई। आखिरकार भत्तो में बढ़ोतरी क्यों नही की गई, आइए जान लेते है इसके पीछे का कारण ?
आपको बता दे , 50% DA होने के बाद कुछ विभागों ने भत्ते बढ़ाकर दिए लेकिन बहुत सारे ऐसे विभाग है जो भत्तो में बढ़ोतरी नहीं कर रहे हैं। ऐसा क्यों हो रहा है।
इस वजह से नहीं बढ़ा महंगाई भत्ता
दरअसल, जनवरी 2024 से महंगाई भत्ता 50% हो चुका है। लेकिन इसके बावजूद भी भत्तों में बढ़ोतरी नहीं हुई है। इसको लेकर अधिकतर विभागों का कहना है कि अभी महंगाई भत्ता 50% नहीं हुआ है। इसलिए हम भत्तो को बढ़ा नहीं सकते है। इसके पीछे सातवें वेतन आयोग की सिफारिश के अनुसार जैसे ही महंगाई भत्ता 50% के ऊपर जाता है वैसे ही भत्तो में 25% तक की बढ़ोतरी की जाएगी। इसके ‘ऊपर’ इसी एक शब्द के कारण पूरा मीनिंग चेंज हो गया। इसी एक शब्द के कारण सभी विभागों का कहना है कि महंगाई भत्ता 50% नहीं हुआ है इसलिए बढ़ोतरी नहीं की जा सकती है।
इन भत्तों में होगी बढ़ोतरी
मंहगाई भत्ता 50% होने के बाद में कुल 48 भत्तों में बढ़ोतरी की जाती है जिसमें मुख्य तौर पर HRA, बाल शिक्षा भत्ता, हॉस्टेल सब्सिडि, टफ लोकेशन अलोवेन्स, ग्रेच्युटी इत्यादि भत्तो के शामिल होने की उम्मीद है।
25 लाख रूपये का आदेश रद्द
आपको बता दे, महंगाई भत्ता 50 % होने के बाद में ग्रेच्युटी की लिमिट 20 लाख रुपए से बढ़ के 25 लाख रूपये हो जानी थी लेकिन इस आदेश को वापस ले लिया गया है। कुछ समय पहले EPFO की तरफ से एक आदेश जारी किया गया था जिसमें ग्रेच्युटी की लिमिट 20 लाख रुपए से बढ़ाकर 25 लाख रुपए कर दी गयी थी। लेकिन कुछ दिनों बाद फिर से एक आदेश जारी किया गया और पहले वाले सर्कुलर को निरस्त कर दिया गया।
मर्ज का मामला
महंगाई भत्ता बेसिक में मर्ज बात भी चल रही है। तो आपको बता दे, महंगाई भत्ता आपका AICPI के आँकड़ो के हिसाब से बढ़ता है लेकिन 2 महीने से AICPI के आंकड़े जारी नहीं हुए हैं ऐसे में उम्मीद की जा रही रही है कि महंगाई भत्ता जुलाई से बेसिक में मर्ज हो जाएगा। ऐसे में मर्ज होने के बाद असली खेल शुरू होगा। कर्मचारियो की बेसिक बढ़ेगी लेकिन भत्तो में बढ़ोतरी का नुकसान झेलना पड़ेगा।