जया किशोरी का जीवन परिचय, उनकी आयु, शिक्षा, इनकम, पत्ति के बारे में
जया किशोरी का जन्म राजस्थान के सुजानगढ़ गांव में हुआ था इनका जन्म 13 जुलाई 1995 को हुआ था।
मूल रूप से राजस्थान से नाता रखने वाली जया किशोरी एक कथा वाचक होने के साथ-साथ मोटिवेशनल स्पीकर भी है क्या आप जानते हैं जया किशोरी का असली नाम जया शर्मा है जो की राजस्थान के एक छोटे से गांव सुजानगढ़ से बिलॉन्ग करती है जया एक गौड़ ब्राह्मण परिवार से ताल्लुक रखती है
असली नाम – जया शर्मा
उपाधि – किशोरी जी
किसने उपाधि दी – पंडित श्री गोविंद राम जी मिश्र
गुरु – पंडित श्री गोविंद राम जी मिश्र
जन्म – 13 जुलाई ,1995
पिता का नाम – शिव शंकर शर्मा
पिता का नाम – गीता देवी हरितपल
पैशा – गायक, संगीत और कलाकार
बहन – चेतना शर्मा
पति – अविवाहित
पारिवारिक जीवन :-
जया किशोरी का एक छोटा सा परिवार है जिसमें उनके माता-पिता और दो बहने रहती हैं जया किशोरी की कोई भाई नहीं है और न हीं वह अभी शादीशुदा है।
जया किशोरी का परिवार अभी कोलकता में रहता है।
इनके पिता का नाम शिव शंकर शर्मा वी माता का नाम गीता देवी हरित पल है।
जया किशोरी के एक छोटी बहन है जिसका नाम है चेतन शर्मा।
जया किशोरी ने अभी तक शादी नहीं की है वह सिंगल है उन्होंने कहा है कि वह शादी सही समय आने पर करेगी।
जया किशोरी की शिक्षा की बात की जाए तो –
जया किशोरी ने बीकॉम कर रखा है। उन्होंने बीकॉम की पढ़ाई के साथ-साथ है अपने अध्यात्म को भी समय दिया है।
अपनी पढ़ाई के साथ साथ भजन ,गीता के पाठ भी करती थी। इन्होंने रेगुलर कॉलेज नहीं किया क्योंकि वह अपना अधिकतर समय अध्यात्म को देना चाहती थी।
उन्होंने अपनी प्राथमिक शिक्षा को Shri Shikshayatan School, महादेवी बिरला वर्ल्ड अकादमी कोलकाता से पूरी की है।
इन्होंने बीकॉम की डिग्री Bachelor Of Commerce (B.Com) के साथ साथ वेदों, श्रीमद भागवद गीता, शास्त्रों की भी शिक्षा ली है।
पसंदीदा चीजें –
पसंदीदा खाना – भारतीय घरेलू खाना
पसंदीदा गायिका – आशा भोसले
पसंदीदा खेल – क्रिकेट
पसंदीदा राजनेता – नरेंद्र मोदी जी और सुषमा स्वराज
जया किशोरी का आध्यात्मिक जीवन :-
किशोरी जी के परिवार का माहौल शुरू से ही आध्यात्मिक की ओर रहा है। मात्र 6-7 साल की उम्र में जया जी का आध्यात्मिक सफर शुरू हुआ था।
परिवार में इनके दादा – दादी जी का इनके ऊपर काफी प्रभाव पड़ा उनके दादा दादी जी उन्हें भगवान् श्री कृष्ण जी की कहानियां सुनाया करते थे।
मात्र 9 साल की उम्र में किशोरी जी ने लिंगाष्टकम, शिव तांडव स्त्रोत, मधुराष्टकम्रा, शिवपंचाक्षर स्तोत्रम्, दारिद्रय दहन शिव स्तोत्रम् जैसे कई स्त्रोत याद कर लिए थे। साथ ही गीत संगीत भी शुरू कर दिया था।
जया जी ने मात्र 10 वर्ष की आयु में अमोघफलदायी सम्पूर्ण सुन्दर काण्ड किया था। वह अपने एक इंटरव्यू में बताती हैं की उनके आध्यात्मिक जीवन की सफलता में उनके माता -पिता का योगदान रहा है।
जया जी के गुरूजी का नाम गोविंद राम मिश्र है। इनके गुरूजी गोविंद राम मिश्र जी द्वारा जया शर्मा जी को ”किशोरी” की उपाधि दी गयी थी।
जिसके बाद से जया शर्मा जी ”जया किशोरी” नाम से जाने जानी लगी।
जया जी हमेशा से ही खुद को एक साधारण लड़की मानती हैं। वह खुद को साध्वी या संत कहलाना पसंद नहीं करती।
जया किशोरी के प्रसिद्ध भजन :-
जया किशोरी ने ज्यादातर भजन राधा – कृष्ण के के ऊपर ही गाएं हैं_
मेरा आपकी कृपा से सब काम हो रहा है
माँ बाप को मत भूलना
कृष्ण गोविन्द गोविन्द गोपाल नंदलाल
इतनी खात्री करवावे ईगो काई लगे
सबसे ऊँची प्रेम सगाई
हरे कृष्णा हरे कृष्णा हरे रामा हरे रमा
राधिका गौरि से
गाड़ी में बिठा ले रे बाबा
जगत के रंग क्या देखू
लिंगाष्टकम मृत्युंजय जाप
अच्युतम केस्वाम कृष्ण दामोदरम
जया किशोरी के आवार्ड –
साल 2016 में ‘आदर्श युवा आध्यात्मिक गुरु पुरस्कार’ से जया जी को नवाजा गया।
”फेम इंडिया एशिया पोस्ट सर्वे 2019 यूथ आइकॉन से नवाजा गया।
साल 2021 में जया किशोरी को ”मोटिवेशनल स्पीकर ऑफ द ईयर” के सम्मान से नवाजा गया।